आप इसे कोरी अफवाह मान
सकते हैं। अफवाह यह है कि अंतत: कांग्रेस के वर्चुअल अध्यक्ष ने पेट्रोलियम
पदार्थों की कीमतों में बढ़ोतरी को लेकर भाजपा अध्यक्ष को एक चिट्ठी लिख मारी है।
यकीन नहीं हो रहा ना कि कांग्रेस आखिर इस मुद्दे पर जाग कैसे गई? इसीलिए ये सबकुछ
अफवाह जैसा ही लग रहा होगा। तो पढ़ लीजिए ये चिट्ठी। यह राहुल के स्टेटस से मेल
खाती है।
विषय : पेट्रोल-डीजल की
कीमतों में बढ़ोतरी के खिलाफ कांग्रेस का राजनीतिक प्रस्ताव।
महोदय,
सेवा में नम्र निवेदन है कि इस समय देश में पेट्रोल-डीजल के दामों में अभूतपूर्व बढ़ोतरी हो रही है। आप जानते ही हैं कि मुख्य विपक्षी पार्टी होने की मजबूरी के चलते हम पेट्रोल-डीजल जैसे महत्वपूर्ण मुद्दे की चाहकर भी अनदेखी नहीं कर सकते। इस मुद्दे पर सरकार का विरोध करने के लिए हम पर काफी नैतिक दबाव है। इसलिए गत दिनों 10 जनपथ रोड पर पार्टी की आयोजित एक अहम बैठक में इस पूरे मसले पर गहन विचार-विमर्श किया गया।
मैं इस पत्र के माध्यम से सूचित करना चाहता हूं कि इस अहम बैठक में पार्टी ने जीरो के मुकाबले तीन मतों से एक राजनीतिक प्रस्ताव पारित किया है। प्रस्ताव के अनुसार, चूंकि आप सात साल पहले ज्यादातर समय तक विपक्ष में रहे। पेट्रोल के जरा से दाम बढ़ने पर आसमान सिर पर उठा लेने का आपको पुराना अनुभव रहा है। ऐसे कठिन समय में पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतों में बढ़ोतरी के मामले में आपको देशहित में अपने इस अनुभव का समुचित उपयोग करते हुए विरोध प्रदर्शन करने की जिम्मेदारी लेनी चाहिए। ऐसा करना न केवल आपका राष्ट्रीय कर्म व सियासी धर्म है, बल्कि नैतिक दायित्व भी है।
पार्टी ने जीरो के मुकाबले तीन मतों से यह भी निर्णय लिया है कि समय मिलने पर हम भी कुछ कांग्रेसी कार्यकर्ताओं को आपके द्वारा आयोजित किए जाने वाले एक या दो विरोध प्रदर्शनों में शामिल होने के लिए प्रेरित करेंगे। मैं आपको विश्वास दिलाता हूं कि प्रदर्शन के लायक कांग्रेसी कार्यकर्ता मिलते ही हम तुरंत उन्हें देशसेवा में झोंक देने के लिए तत्पर होंगे।
आपको फिर याद दिला दूं कि अगर इस कठिन समय में भी ओछी राजनीति करते हुए आप इतने महत्वपूर्ण मुद्दे की अनदेखी करते रहे और सड़कों पर नहीं निकले तो देश के साथ इससे बड़ा विश्वासघात और कुछ और नहीं होगा। विरोध प्रदर्शन आयोजित न कर पाने की स्थिति में आप इस पत्र को ही कांग्रेस पार्टी की ओर से भर्त्सना पत्र की तरह मानने का कष्ट करें।
आपका तो हरगिज नहीं...
राहुल
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